आजादी के सात दशक बीतने के बाद भी सूबे में कुछ इलाके ऐसे हैं जहां लोग मूलभूत सुविधाओं से कोसों दूर हैं… कुछ गांव ऐसे हैं भी जहां न तो बिजली पहुंची है… न तो पानी और ना ही सड़कें… कुछ ऐसा ही हाल है सीतापुर के विकास खण्ड सकरन के भम्भुआ गांव का…. जहां आज तक बिजली नहीं पहुंची… ऐसे में ग्रामीणों को कई तरह की मुश्किलों का सामना करना पड़ता है… बच्चों को दिये की रोशनी में पढ़ाई करनी पड़ती है… जरा देखिये इन तस्वीरों को… ये तस्वीरें सौभाग्य योजना के तहत गांव-गांव बिजली पहुंचाने के सरकारी दावे को फेल बता रहीं हैं… देखिये किस तरह देश का उज्जवल भविष्य दिये की रोशनी में पढाई कर रहा है… ग्रामीणों का कहना है कि उन्होंने कई बार गांव में बिजली पहुंचाने के लिए बिजली विभाग से अर्जी तो लगाई… लेकिन उनके गांव तक आज भी बिजली नहीं पहुंची… ग्रामीणों का कहना है कि बिजली विभाग के लापरवाह अधिकारियों की कार्यशैली से गांव में आजतक बिजली नहीं पहुंची है