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खीरी में किसानों-प्रशासन में तीन स्तर की वार्ता विफल:दोपहर साढ़े 12 बजे किसानों ने पंचायत बुलाई, चौथे चरण की वार्ता में रखे जाएंगे पंचायत के प्रमुख फैसले

यूपी के लखीमपुर खीरी में रविवार को हिंसा के बाद अब पुलिस-प्रशासन की किसानों से बातचीत जारी है। तीन स्तर की वार्ता हो चुकी है। दोपहर साढ़े 12 बजे बड़ी पंचायत बुलाई गई है। इस पंचायत के बाद चौथे चरण की वार्ता हो सकती है। किसानों ने दो टूक कहा है कि जब तक सारी मांगें नहीं मानी जाएंगी, तब तक शवों का अंतिम संस्कार नहीं होगा। फिलहाल मृत किसानों के शव महाराजा अग्रसेन कॉलेज परिसर में रखे हुए हैं।
खीरी के किसान रविवार रात से ही कह रहे थे कि जब तक भाकियू राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत नहीं आ जाते, तब तक वे मृतकों के शवों का अंतिम संस्कार नहीं करेंगे। राकेश टिकैत सोमवार तड़के साढ़े पांच बजे लखीमपुर खीरी पहुंच गए। राकेश टिकैत समेत प्रमुख किसान नेताओं की डीएम-एसएसपी से पहली वार्ता सुबह 7 बजे हुई।
किसान नेताओं की मांग है कि मंत्री, उनके बेटे व समर्थकों पर हत्या का मुकदमा दर्ज हो। मंत्री को बर्खास्त किया जाए। परिजनों को एक-एक करोड़ रुपये मुआवजा मिले। पूरे केस की न्यायिक जांच हो। राकेश टिकैत का कहना है कि यह सारी मांग मानी जाएं, तभी किसानों का अंतिम संस्कार होगा। दूसरे चरण की वार्ता 9 बजे और तीसरे चरण की वार्ता 10 बजे हो चुकी है। अब साढ़े 12 बजे राकेश टिकैत के नेतृत्व में बड़ी पंचायत बुलाई गई है। इसमें तकरीबन चार हजार किसानों के मौजूद रहने का अनुमान है। इस पंचायत में जो तय होगा, वह चौथे चरण की वार्ता में रखा जाएगा। उप्र के एडीजी कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार प्रत्येक वार्ता पर नजर रख रहे हैं और लखनऊ को अपडेट दे रहे हैं।
एसकेएम ने राष्ट्रपति को पत्र लिखा
इस पूरे मामले में संयुक्त किसान मोर्चा ने एक पत्र राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को लिखा है। इसमें केंद्रीय राज्य गृहमंत्री अजय मिश्र टेनी को पद से बर्खास्त करने, हिंसा उकसाने का मुकदमा दर्ज करने, मंत्री के बेटे व साथियों पर हत्या का मुकदमा कर गिरफ्तार करने, केस की जांच सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में एसआईटी द्वारा करने और हरियाणा सीएम को पद से बर्खास्त करने की मांग की है।

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