कोतवाली संभल में तैनात एक महिला दरोगा बुधवार को चर्चा का विषय बनीं रहीं। दरअसल कोतवाली में ड्यूटी पर रहते हुए वह एक व्यक्ति से पैर दबवा रहीं थीं। फोन पर किसी से बात भी कर रहीं थीं। पूछने पर कहा कि गर्दन में दर्द है इसलिए एक्यूप्रेशर विधि से वह उपचार करा रहीं थीं। बहरहाल तस्वीर आपके सामने है, आप खुद तय करें कि यह कितना सही है।

खाकी का रौब देखना है तो कोतवाली संभल में देखें। बुधवार को यहां कार्यालय में बैठकर महिला दरोगा शबनम अपने पैर दबवाती दिखीं। उन्होंने अपने पैर को उस कुर्सी पर रखा था, जिस पर पैर दबाने वाला व्यक्ति बैठा था। इस दौरान उन्होंने एक शिकायतकर्ता से बातचीत की तो सामान्य तरीके से किसी से फोन पर भी बातचीत की।

इस दृश्य की चर्चा गहराने के साथ कहा गया कि जो व्यक्ति महिला दरोगा के पैर दबा रहा है वह उत्तराखंड के हल्द्वानी का रहने वाला है। इस बाबत पूछने पर महिला दरोगा ने कहा कि उनकी गर्दन में दर्द था इसलिए वह एक्यूप्रेशर विधि से उपचार करा रही थीं। जो व्यक्ति आया था वह लोगों के दर्द का उपचार करता है। मैंने भी करा लिया।

दूसरी ओर कोतवाल मामला संज्ञान में नहीं होने की बात कह रहे हैं। बता दें कि इन्हीं महिला दरोगा पर पूर्व में बरेली तैनात रहते समय एक दरोगा की गैर इरादतन हत्या के आरोप का मुकदमा चल चुका है।

महिला दरोगा को कोई समस्या है। ऐसी जानकारी मिली है लेकिन ऐसे कार्यालय में बैठकर उपचार लेना सही नहीं है। जानकारी करते हैं। ऐसा क्यों किया गया है।
– चक्रेश मिश्र, पुलिस अधीक्षक, संभल