एलडीए कम कीमत की छोटी सम्पत्तियों को मैनुअल नीलामी से बेचेगा। प्राधिकरण उपाध्यक्ष अक्षय त्रिपाठी ने सोमवार को ओटीएस की समीक्षा बैठक के दौरान निर्देश दिए। उन्होंने अफसरों से कहा कि ई-आक्शन में जो छोटी सम्पत्तियां निस्तारित नहीं हो पा रही हैं, उन्हें मैनुअल नीलामी से बेचने का प्रस्ताव बनाया जाए।
कामर्शियल अनुभाग की ओर से जिन सम्पत्तियों की नीलामी होनी है, उसकी सूची बनाने को कहा है। इसके आधार पर संबंधित अभियंताओं को इन सम्पत्तियों का जीपीएस कोआर्डिनेट, फोटोग्राफ और सम्पत्ति स्थल तक पहुंचने का नजरीनक्शा लैण्ड मार्क समेत तैयार कराया जाए। इसे आगे से हर नीलामी में सम्पत्ति के साथ वेबसाइट पर अपलोड किया जायेगा। उपाध्यक्ष ने कहा कि पांच वर्षों में जो नीलामी की गई है, उनका विवरण निर्धारित प्रारूप पर तैयार किया जाए। इसके बाद जिन सम्पत्तियों की नीलामी हो गई है, उसकी धनराशि जमा कराकर निबन्धन कार्यवाही की जाए। यह भी देखा जाए कि जो सम्पत्ति नीलामी में बिकने से रह जाती है, वह वर्तमान नीलामी में लग जाएं। उपाध्यक्ष ने प्रत्येक सम्पत्ति अधिकारी से योजनावार ओटीएस के प्रारूप में संख्यात्मक और विवरणात्मक सूचना सम्पत्तियों की पत्रावलियों से भरकर तैयार कराने को कहा। इसका पोर्टल से प्राप्त डाटा से मिलान कर रिपोर्ट पेश करने को कहा, जिनकी ओटीएस की किश्तें बनी हैं और देय तिथि बाकी है, उनको सूचित कर ओटीएस धनराशि जमा कराने का काम शुरू किया जाये। इनमें जिन लोगों की धनराशि जमा हो जाये, उनकी रजिस्ट्री की कार्यवाही कैम्प लगाकर करें।
किराए के मकान की बिक्री के लिए लगा शिविर
एलडीए के भूतल स्थित कमेटी हाल में सोमवार किराये के मकानों की बिक्री के लिए लगे शिविर में दर्जनों लोग पहुंचे। बकाया किराया, संपत्ति मूल्य जमा कर रजिस्ट्री कराने के संबंध में लोगों ने अफसरों से जानकारी ली। यहां एलडीए उपाध्यक्ष अक्षय त्रिपाठी ने निर्देशित किया कि सभी योजना सहायक अपनी-अपनी योजना के किरायेदारों का किराया जमा कराएं और रजिस्ट्री के संबंध में सूचित करें। विशेष कार्याधिकारी राजीव कुमार ने बताया कि शिविर दो नवम्बर तक चलेगा। किरायेदार आकर किराया जमा कर आवंटित सम्पत्तियों की रजिस्ट्री करा सकते हैं। शिविर के पहले दिन पांच सम्पत्तियों का किराया, विक्रय मूल्य जमा कराया गया है। सात ने रजिस्ट्री के लिए सम्पर्क किया। एलडीए को 19 लाख राजस्व मिला।