पहले चरण के चुनाव में भाजपा के चाणक्य माने जाने वाले केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने भाजपा प्रत्याशियों के कील कांटे दुरुस्त करने की नियत से पश्चिम क्षेत्र के 14 जनपदों के करीब 400 जाट बिरादरी नेताओं को दिल्ली बुलाकर उनके साथ विचार विमर्श किया। इस दौरान वक्ताओं ने उनके समक्ष केंद्रीय सेवाओं में जाट बिरादरी को आरक्षण, यूपी में 14 दिन में गन्ना मूल्य भुगतान, गन्ना मूल्य भुगतान में देरी पर ब्याज, केंद्रीय सरकार में किसी जाट के कैबिनेट मंत्री नहीं होने जैसे मुद्दे उठाए।

दिल्ली के भाजपा सांसद प्रवेश वर्मा के आवास पर आयोजित बैठक में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि जाट समुदाय की भाजपा हमेशा ऋणी रहेगी और वह समाज के लोगों की भावनाओं को समझ रहे हैं। हम आपसे वादा करते हैं कि आपको निराश नही करेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि डॉक्टर संजीव बालियान केंद्र में कैबिनेट में केबिनेट मंत्री भले ही न हों लेकिन वे मेरे छोटे भाई जैसे हैं और ये केंद्र में कैबिनेट मंत्री से कम नहीं है। 

अमित शाह की बैठक में मुजफ्फरनगर में पीजेंट वेलफेयर एसोसिएशन चलाने वाले किसान नेता अशोक बालियान शामली के किसान नेता सुभाष माटियान, मेरठ के किसान नेता एवं जाट महासभा के पदाधिकारी अमन सिंह, आगरा के जाट नेता एवं जाट आरक्षण आंदोलन में सक्रिय रहे एचपी परिहार और अमरोहा के सरदार जगजीत सिंह ने जाट बिरादरी की ओर से विचार रखें। केंद्रीय राज्य मंत्री डॉक्टर संजीव बालियान और भाजपा के प्रदेश चुनाव प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान ने भी अपने विचार रखे।