अमितेश कुमार सिंह, गाजीपुर
असदुद्दीन ओवैसी की AIMIM के साल 2022 के यूपी चुनावों में मुख्तार अंसारी और अतीक अहमद की पत्नी को चुनाव लड़ाने के प्लान से सियासी हलकों में हलचल तेज हो गई है। AIMIM 2022 के चुनावों में अकलियतों के वोटों को सहेजने के लिए ‘OAM’ के फार्मूले पर काम करती नजर आ रही है। आइये आपको AIMIM के ‘OAM’ फार्मूले के बारे में विस्तार से बताते हैं।

BSP-SP के लिए बेगाने अतीक और मुख्तार, AIMIM ने अपनाया
AIMIM ने पिछले दिनों अहमदाबाद जेल में बंद अतीक अहमद की पत्नी को औपचारिक रूप से पार्टी में शामिल कराया। ऐसे में यह माना जा रहा है कि AIMIM अतीक अहमद की पत्नी को चुनाव लड़ाने के विकल्पों पर विचार कर रही है। अतीक अहमद की पत्नी शाइस्ता परवीन को प्रयागराज की पश्चिमी सीट से कैंडिडेट बनाया जा सकता है। वहीं मऊ सदर से विधायक मुख्तार अंसारी का बीएसपी से टिकट कटने के बाद AIMIM ने मुख्तार अंसारी को अपने टिकट पर से लड़ने का ऑफर दिया है। AIMIM के अनुसार मुख्तार यूपी की किसी भी सीट से उनके टिकट पर चुनाव लड़ सकते हैं।

अतीक और मुख्तार के जरिए माइनॉरिटी वोटों पर नजर
AIMIM की चुनावी स्ट्रेटेजी अन्य दलों से अलग नजर आ रही है। एक तरफ जहां ज्यादातर सियासी दल विवादित चेहरों से दूर रहकर चुनाव लड़ने की योजना बना रहें हैं, वहीं AIMIM पॉपुलर मुस्लिम चेहरों के नाम पर अतीक और मुख्तार पर दांव लगाने से गुरेज नहीं कर रही है। OAM का सरलीकरण किया जाए तो इसे ओवैसी,अतीक और मुख्तार के तौर पर समझा जा सकता है। ओवैसी खुद अपनी पार्टी के अध्यक्ष और स्टार प्रचारक हैं। वहीं मुख्तार और अतीक क्षेत्र विशेष के मुसलमानों में खास दखल रखते हैं।

ओपी राजभर के साथ बरकरार है राजनीतिक करार

अतीक और मुख्तार सरीखें लोगों को टिकट देने को लेकर एनबीटी ऑनलाइन ने AIMIM के यूपी प्रेसिडेंट शौकत अली से खास बातचीत की। शौकत अली ने बताया कि सुभासपा और AIMIM ने अलग-अलग मंच से मुख्तार अंसारी को अपने-अपने सिंबल से चुनाव लड़ने वास्ते टिकट ऑफर किया है। शौकत अली ने साफ किया कि दोनों (ओवैसी-राजभर) में कोई आपसी मतभेद नहीं है। 18 सितम्बर को ओवैसी और ओपी राजभर की मुलाकात लखनऊ में होने वाली है। इस बीच शौकत अली ने एसपी, बीएसपी पर खुल कर हमला बोला। उन्होंने बताया कि दोनों ही दलों ने अपने सियासी फायदे के लिए मुसलमानों का इस्तेमाल किया है।