उत्तराखंड के एक डीएम की तारीफ कर रही है दुनिया ! बागेश्वर जिले की डीएम का फैन हो गया अमेरिका ! जानिए क्यों डीएम अनुराधा पाल की अमेरिका ने की तारीफ !

उत्तराखंड के एक डीएम की तारीफ कर रही है दुनिया
बागेश्वर जिले की डीएम ने किया कुछ ऐसा काम कि फैन हो गया अमेरिका
अमेरिका ने भेजी डीएम अनुराधा पाल की तारीफों से भरी चिट्ठी
अनुराधा पाल ने ग्लेशियर में फंसे 13 अमेरिकी लोगों की थी मदद
पहले भी किसान का काम ना होने पर अधिकारी की रोक दी थी सैलरी

उत्तराखंड में इन दिनों एक जिलाधिकारी की चर्चा हर तरफ हो रही है…सभी उन डीएम साहिबा की तारीफ कर रहे हैं ना केवल देश में ही बल्कि विदेश भी डीएम साहिबा की तारीफों के पुल बांधे जा रहे हैं…इनका नाम है अनुराधा पाल जो उत्तराखंड के बागेश्वर की डीएम हैं और फिलहाल अमेरिका इनकी तरीफ में कसीदे पढ़ रहा है…और तारीफ की वजह है एक घटना जो 23 अप्रैल को घटी थी जिसमें अमेरिका के 13 लोग पिंडारी ग्लेशियर में फंस गए और इसकी खबर जब अनुराधा पाल को लगी तो उन्होंने तुरंत उन अमेरिकी लोगों की सहायता पहुंचाई जिसके बाद से ही अमेरिका अनुराधा पाल की तारीफ कर रहा है…चलिए आपको बताते हैं कि जिन अनुराधा पाल की तारीफ अमेरिका कर रहा है वो अनुराधा पाल आखिर हैं कौन….ने और उस दिन हुआ क्या था जिसमें 13 अमेरिकी लोग फंस गए थे…बाताएंगे आपको पूरी खबर बस आप हमारे इस वीडियो को आखिर तक देखते रहें

दरअसल अमेरिकी दूतावास ने पिंडारी ग्लेशियर में फंसे 13 अमेरिकी पर्वतारोहियों की सहायता के लिये बागेश्वर जिला प्रशासन की जमकर तारीफ की है…अमेरिकी दूतावास की ओर से जिलाधिकारी अनुराधा पाल को भेजे गई एक चिट्ठी में कहा गया है कि

पिंडारी ग्लेशियर में फंसे अमेरिकी पर्वतारोहियों की सुरक्षा को सर्वोच्च
प्राथमिकता देते हुए जिस तरह से जिला प्रशासन की ओर से राहत व
बचाव कार्य किया गया और पीड़ितों को हरसंभव संसाधन मुहैया
कराये गये वह प्रशंसनीय है।

काउंसलर मामलों के मंत्री कैथरीन फ्लैचबर्ट की ओर से 27 अप्रैल को लिखे गई एक चिट्ठी में जिला प्रशासन के समर्पण भाव के लिये पूरी टीम का धन्यवाद ज्ञापित किया गया है।

बता दें कि कुछ दिन पहले 13 अमेरिकी पर्वतारोहियों का एक दल पिंडारी ग्लेशियर की यात्रा पर गया था। जब दल वापस लौट कर पिंडारी ग्लेशियर के जीरों प्वाइंट पहुंचा तो यकायक हिमस्खलन हो गया और दल का सामान हिमस्खलन की चपेट में आ गया।
जिसके बाद इस घटना की सूचना जैसे ही बागेश्वर जिला प्रशासन को मिली…वैसे ही बिना देरी किए एक टीम को राहत व बचाव कार्य के लिये मौके के लिये रवाना कर दिया गया। टीम सभी पर्वतारोहियों को लेकर वापस कपकोट पहुंची। साथ ही उनकी हरसंभव मदद भी की…जिसमें डीएम अनुराधा पाल की बड़ी भूमिका रही…वैसे अनुराधा पाल की आईएएस बनने की जर्नी भी कुछ ऐसी है जिससे हर वो शख्स सबक ले सकता है जो आईएएस बनना चाहता है

अनुराधा पाल ने जवाहर नवोदय विद्यालय हरिद्वार में अपनी स्कूली शिक्षा
पूरी की थी, और फिर उन्होंने इलेक्ट्रॉनिक्स और कम्यूनिकेशन में इंजीनियरिंग
की डिग्री ली 2008 में ग्रेजुएशन की पढ़ाई पूरी करने के बाद उनका सेलेक्शन
टेक महिंद्रा में हो गया नौकरी के साथ उन्होंने IAS परीक्षा पास करने का लक्ष्य
रखा. इसलिए उन्होंने अपनी टेक महिंद्रा की नौकरी छोड़ दी और तीन साल के
लिए लेक्चरर के रूप में कॉलेज ऑफ टेक्नोलॉजी रुड़की जॉइन किया
अनुराधा पाल ने साथ-साथ आईएएस परीक्षा की तैयारी की और 2012 में भारतीय
राजस्व सेवा में चयनित होने के लिए ऑल इंडिया रैंक 451 के साथ यूपीएससी
क्लियर किया वह अभी भी संतुष्ट नहीं थीं क्योंकि उन्हें आईएएस बनना था इसके
लिए उन्होंने 2015 में फिर से यूपीएससी परीक्षा पास की और इस बार उनकी
ऑल इंडिया रैंक 62 आई और IAS बन गईं

इस समय अनुराधा बागेश्वर की डीएम हैं. हाल ही में उन्होंने एक जनता दरबार लगाया उसमें जनता की शिकायतें सुनी गईं. इस दौरान 29 शिकायत मिलीं. साथ ही उन्होंने सभी समस्याओं को एक हफ्ते में निपटाने का निर्देश दिया साथ ही यह भी कहा कि जो शिकायतें इस बार आई हैं वह अगली बार न आएं. एक शिकायत में किसानों को मुआवजा नहीं मिलने की आई इस पर डीएम ने नाराजगी जताते हुए पीएमजीएसवाई बागेश्वर के अधिशासी अभियंता की सैलरी रोकने का आदेश दिया..अब तो आप समझ ही गए होंगे कि अनुराधा पाल तारीफ के ही काबिल हैं तभी तो उनकी तारीफ ना केवल देश में हो रही है बल्कि विदेश भी उनकी तारीफ के कसीदे पढ़े जा रहे हैं….आपको हमारी ये खबर कैसी लगी हमें कमेंट कर जरूर बताएं साथ ही उत्तराखंड से जुड़ी हर खबर के लिए हमारा चैनल सब्सक्राइब कर लें….शुक्रिया