Lalu Yadav और Nitish Kumar के बीच न्यौता पॉलिटिक्स शुरू,देखिए इस मुद्दे की पुरानी कहानी !

क्या बिहार में फिर से होने वाला है सत्ता परिवर्तन ?
क्या है लालू यादव और नीतीश कुमार के बीच चल रही न्योता पॉलिटिक्स ?
क्या सच में नीतीश कुमार लालू परिवार से नाराज हैं ?
क्या बिहार की राजनीति में सबकुछ ठीक नहीं चल रहा ?
पिछली बार भी न्योता कबूल होने के बाद बदल गई थी सरकार

बिहार की राजनीति सबसे दिलचस्प राजनीति मानी जाती है जहां कब क्या हो जाए कोई नहीं जानता…और अब इसी बिहार में न्योता नहीं देने को लेकर रूठा मनाई चल रही है क्योंकि यहां न्योता पॉलिटिक्स काफी पुरानी है…यहां की राजनीति में न्यौते का खासा महत्व रहा है। सीधे तौर पर कहा जाये तो न्यौते की राजनीति की परंपरा बिहार में काफी पुरानी है यहां तक कि बिहार में न्यौते पर सरकार बनती-बिगड़ती देखी गई हैं और अब एक बार फिर इसी बिहार में न्योते को लेकर महागठंबधन में दरार की खबरें आने लगी हैं…नीतीश और लालू में न्योते को लेकर नाराजगी बताई जा रही है…क्या है पूरा मामला बताएंगे आपको इसी वीडियो में बस आप हमारे इस वीडियो को आखिर तक देखते रहें
दरअसल बिहार में जब भी राजनीति की चर्चा होगी तो न्यौते की राजनीति की चर्चा जरूर होगी और जब भी न्योते की राजनीती की चर्चा होगी तो नीतीश कुमार की चर्चा जरूर होगी। क्योंकि नीतीश के न्योते पर बुलाने और खुद जाने पर कई दफा सरकारें बदल गई हैं…याद करिए जब नीतीश कुमार बीजेपी के साथ गठबंधन कर सरकार चला रहे थे और इस बीच लालू यादव के घर इफ्तार का न्यौता कबूल करते हैं और फिर होता ये है कि बिहार में सत्ता ही पलट जाती है और एनडीए की सरकार महागठबंधन की सरकार में बदल गयी और अब एक बार फिर बिहार की सियासत में न्यौते की राजनीति चर्चा में हैं और अब लालू और नीतीश के बीच न्योता राजनीति चल रही है

क्या है न्यौते पर नीतीश-लालू का मामला

दरअसल हुआ ये कि बिहार के डेप्युटी सीएम और आरजेडी नेता तेजस्वी यादव के घर लक्ष्मी आयी और ये लालू परिवार के लिए बेहद खुशी का मौका था क्योंकि बड़े बेटे तेजप्रताप की शादी विवादों में फंस गई और लालू यादव की दादा बनने की ख्वाइश अधूरी रह गई जो अब छोटे बेटे तेजस्वी यादव ने पूरी कर दी है… बहरहाल, लोगों को इस बात पर हैरानी है कि अपने डिप्टी सीएम के इतनी बड़ी खुशी आई है और उनके घर जाकर नीतीश कुमार ने बधाई नहीं दी। वहीं जब नीतीश कुमार से इस पर सवाल किया गया तो उन्होंने इस पर सफाई भी दी उन्होंने कहा कि

लालू परिवार से उन्हें न्यौता ही नहीं मिला है। जब न्यौता मिलगा तो जरूर जाएंगे।

और यही वजह है कि लोग अब चर्चा करने लगें हैं कि नीतीश कुमार और लालू यादव के बीच सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है कहीं तो कुछ गड़बड़ है नहीं तो ये मुश्किल है कि लालू यादव के घर इतनी बड़ी खुशी का मौका हो और नीतीश कुमार उनके घर जाकर बधाई न दें। और यही वजह है कि लोग बिहार में सत्ता परिवर्तन के कयास लगा रहे हैं।

क्योंकि इससे पहले जब बिहार में सत्ता परिवर्तन हुआ था तब राबड़ी देवी के इफ्तार के न्यौते से नीतीश कुमार का मन बदला था।
अगर आपको याद हो तो महागठबंधन सरकार की बुनियाद राबड़ी देवी के आवास पर ही पड़ी थी। राबड़ी देवी ने रमजान के महीने में इफ्तार पार्टी का आयोजन किया था। इसका न्यौता उन्होंने एनडीए की सरकार चला रहे नीतीश कुमार को भी भेजा और सबको चौंकाते हुए नीतीश कुमार अचानक राबड़ी देवी के आवास पहुंच गए। इतना ही नहीं प्रोटोकाल का ख्याल किये बगैर नीतीश ने राबड़ी के आवास तक की यात्रा पैदल ही की। उसके बाद ही जेडीयू-आरजेडी की केमेस्ट्री बनी और सितंबर 2022 में नीतीश ने पाला बदल लिया। एनडीए को छोड़ वे महागठबंधन में आ गये और जहां एनडीए की सरकार थी वहां महागठबंधन की सरकार बन गई। वहीं अब नीतीश कुमार हाल ही बीजेपी नेता के घर दावत में होकर आए हैं इसलिए एक बार सत्ता परिवर्तन की चर्चाएं चल रही हैं। आपको हमारी ये खबर कैसी लगी हमें कमेंट कर जरूर बताएं साथ ही राजनीति से जुड़ी दूसरी खबरों के लिए हमारा चैनल सब्सक्राइब कर लें…शुक्रिया