प्रदेश में एक ओर कोरोना संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैं तो दूसरी ओर चौथी लहर की आशंका भी तेज होने लगी हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि चौथी लहर में संक्रमण का स्वरूप नहीं बदलेगा। यह वेरिएंट कम खतरनाक होगा। वहीं हार्ड इम्यूनिटी के कारण संक्रमण का असर नहीं दिखेगा।

यह तमाम बातें बुधवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा गठित स्वास्थ्य सलाहकार समिति की बैठक में विशेषज्ञ डॉक्टरों ने कहीं। हालांकि संक्रमण की संक्रमण दर तेज होगी। मगर मरीज को भर्ती कराने या उसके अति गंभीर होने की स्थिति नहीं होगी। प्रदेश में चौथी लहर को लेकर योगी सरकार अलर्ट मोड पर है। संजय गांधी पीजीआई के निदेशक डा. आरके धीमान ने बताया कि यूपी स्वास्थ्य सलाहकार समिति की बैठक में चौथी लहर को लेकर कई फैसले लिए गए। विशेषज्ञ डॉक्टरों के पैनल ने बताया कि चौथी लहर में संक्रमण के स्वरूप में कोई बदलाव नहीं होगा। उन्होंने कहा कि ओमीक्रॉन वेरिएंट कम खतरनाक होगा। 

हार्ड इम्यूनिटी के कारण नहीं दिखेगा संक्रमण का अस

डा. आरके धीमान ने बताया कि टीकाकरण के कारण लोगों में हार्ड इम्यूनिटी पाई जा रही है। ऐसे में चौथी लहर में संक्रमण का हल्का-फुल्का असर ही लोगों पर देखने को मिलेगा। उन्होंने बताया कि मास्क, सैनिटाइजर और कोविड से जुड़ी सभी गाइडलाइन का पालन करने से ही चौथी लहर का प्रकोप कम देखने को मिलेगा।

घबराएं नहीं, कोविड प्रोटोकॉल का करें पालन

डा. धीमान ने बताया कि संक्रमण की चौथी लहर से घबराने की कोई बात नहीं है लेकिन कोविड गाइडलाइन का पालन हर हाल में करने की जरूरत है। टेस्ट, टीकाकरण से चौथी लहर से बचा जा सकता है। संभव है कि केसों की संख्या में बढ़ोत्तरी हो लेकिन अस्पताल में भर्ती होने अथवा मरीज के अति गंभीर होने की स्थिति नहीं होगी। उन्होंने बताया कि बैठक के बाद मुख्य बिंदुओं को लेकर एक ड्राफ्ट तैयार किया गया है। इसे मुख्यमंत्री को सौंपा जाएगा। स्वास्थ्य सलाहकार समिति ने आपस में विमर्श करके चौथी लहर के संबंध में विस्तृत रिपोर्ट तैयार कर ली है।